रैयत विस्थापित मोर्चा की मेहनत लाई रंग दो वर्षो बाद चालू हुआ रिजेक्ट कोल डंप

Frontline News Desk
2 Min Read

रिपोर्ट : विपिन नायक

रैयत विस्थापित मोर्चा की मेहनत लाई रंग दो वर्षो बाद चालू हुआ रिजेक्ट कोल डंप

 

 

- Advertisement -

 

 

 

 

 

- Advertisement -

 

 

 

- Advertisement -

 

 

 

पिपरवार। गुरूवार को रिजेक्ट कोल डंप का उद्घाटन सीएचपी,सीपीपी परियोजना पदाधिकारी डी. कुमार,सेल्स मैनेजर पीके सिंह आनंद सिंह एंव रैयत विस्थापित मोर्चा के केन्द्रीय उपाध्यक्ष इकबाल हुसैन,रामचन्द्र उरांव,महेन्द्र गंझू ने संयुक्त रूप से नारियल फोड़कर एवं पूजा अर्चना कर कांटा का उद्धाटन किया। उद्घाटन के मौके पर एक गाड़ी कांटा की गई। जिसमें मजदूरों की चेहरे पर मुश्कान लौटी, ग्रामीण मजदुरों में खुशी देखने को मिली। पीओ डी.कुमार ने कहा कि काफी लंबे संघर्ष के बाद आज खुशी का दिन आया है रिजेक्ट कोल डंप चालू होने में प्रबन्धन के पदाधिकारी रैयत विस्थापित मोर्चा के पदाधिकारी एवं विस्थापित ग्रामीणों का अहम योगदान रहा है। इनके संघर्ष के परिणाम स्वरूप ही आज डंप चालू हो पाया है।
रैयत विस्थापित मोर्चा के केन्द्रीय अध्यक्ष इकबाल हुसैन ने कहा कि दो वर्षों से बंद पड़े कोल डंप को आज चालू किया जा रहा हैं। मोर्चा के टीम ने दो वर्षों तक संघर्ष करने का काम किया है ,पिपरवार,एन.के. में एकमात्र हैंडलोडिंग का डंप है इस डंप से आस-पास के तकरीबन बीस गांव के हजारो हजार मजदूर रोजगार से लामांवित हो रहे थे,डंप बंद हो जाने से मजदूरो के समक्ष रोजी रोटी को समस्या उत्पन्न हो गई थी। डंप चालू होने पर मोर्चा व प्रबंधन को धन्यवाद दिया।
केन्द्रीय सदस्य मदेन्द्र गंझू ने कहा कि रिजेक्ट कोल डंप होने से क्षेत्र में बेरोजगारी की समस्या उत्पन्न हो गई थी,डंप चालू होने से क्षेत्र में खुशहाली आएगी। रोजगार के लिए टोला के अंतिम व्यक्ति गरीब,मजदूर तक रोजगार मिले।
इस मौके पर रैयत विस्थापित मोर्चा के केन्द्रीय उपाध्यक्ष इकबाल हुसैन,सचिव रामचन्द्र उरांव,केन्द्रीय सद्स्य महेन्द्र गंझू,नागेश्वर महतो,जेपी महाराज,हरिनारायण गंझू,इदरीस अंसारी,सलीम जावेद,सुरज मुंडा,बिजय महतो,फहीम रजा,श्रवण महतो,अनील ठाकुर,दिरपाल भगत,इन्द्रजीत उरांव,गब्बर महतो,वीरू मुंडा,मंजुर आलम,रतन महतो,सुरेश महतो,राजेन्द्र महतो,अजय महतो,बादल महतो,प्रदीप महतो,रमेश महतो,मोहम्मद सदीक,गिठकु
महतो सहित ग्रामीण मजदूर मौजूद थे।

Share This Article